UNSC: पाकिस्तान की तरफ से यूनाइटेड नेशन सिक्योरिटी काउंसिल (UNSC) से बंद कमरे की बैठक बुलाने की अपील की गई थी. UNSC ने इस अपील को स्वीकार करते हुए 5 मई को बैठक बुलाई थी. इस बैठक का मुख्य उद्देश्य पहलगाम हमले के बाद भारत और पाकिस्तान के बीच बढ़ रहे तनाव को कम करने के प्रयासों पर चर्चा करना था. इस मीटिंग के समाप्त होने के बाद पाकिस्तान के दूत असीम इफ्तिखार ने मीडिया से बातचीत की. इस बातचीत के दौरान असीम ने कहा कि इस मीटिंग को बुलाने के पीछे जो हमारा मकसद था वह पूरा हुआ है.
कंसल्टेशन रूम में रखी गई थी बैठक
UNSC ज्यादातर अपनी मीटिंग UNSC चैंबर में रखता है. लेकिन पाकिस्तान द्वारा बंद कमरे में मीटिंग करने की खास अपील को देखते हुए यह मीटिंग कंसल्टेशन रूम में आयोजित की गई थी. इस मीटिंग के बारे में पत्रकारों से बात करते हुए आसीम ने कहा कि मीटिंग में साउथ एशिया में बढ़ रहे तनाव पर चर्चा करते हुए इसे कम करने की कोशिशों पर बातचीत की गई. साथ ही जम्मू-कश्मीर के मुद्दे पर भी चर्चा की गई.
जम्मू-कश्मीर के मुद्दे पर आसीम ने क्या कहा?
आसीम ने कहा कि काउंसिल के कई सदस्यों ने यूनाइटेड नेशन सिक्योरिटी काउंसिल में पेश किए गए पाकिस्तान के प्रस्ताव को मान्यता दी है. इस प्रस्ताव में कश्मीर के निवासियों की इच्छा के अनुसार जम्मू-कश्मीर के मुद्दे समेत उन सभी विवादित मुद्दों को शांतिपूर्ण तरीके से सुलझाने को लेकर योजना बनाने की बात कही गई है. आसीम ने आगे कहा कि क्षेत्रीय शांति और स्थिरता के लिए दोतरफा प्रयास जरूरी हैं. साथ ही सिद्धांतिक कूटनीति, अंतरराष्ट्रीय कानून का पालन होना भी सुनिश्चित करना जरूरी है.
हालांकि अभी तक UNESC की तरफ से इस मीटिंग पर किन बातों पर चर्चा की गई है, इसे लेकर किसी भी तरह का कोई आधिकारिक बयान जारी नहीं किया गया है.
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