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‘बॉर्डर पर खड़ा सैनिक…’ भारतीय क्रिकेट से बाहर करो ये शब्द, इंग्लैंड सीरीज खत्म होते ही भड़के गावस्कर


Sunil Gavaskar Comment on Workload Management : एंडरसन-तेंदुलकर ट्रॉफी में मोहम्मद सिराज ने साबित कर दिया कि वर्कलोड केवल एक बहाना है, असली ताकत अपने ऊपर भरोसे में है. पांचों टेस्ट में खेलते हुए उन्होंने शानदार गेंदबाजी की और 23 विकेट अपने नाम किए. सिराज इस सीरीज में ऐसे अकेले गेंदबाज रहे जिन्होंने हर मैच में दमखम के साथ खेलते हुए फिटनेस और प्रदर्शन से ‘वर्कलोड’ की धारणा को चुनौती दी. पूर्व कप्तान सुनील गावस्कर ने सिराज की तारीफ करते हुए वर्कलोड मैनेजमेंट के विचार पर तीखी प्रतिक्रिया दी. भारत के महान क्रिकेटर सुनील गावस्कर ने “वर्कलोड मैनेजमेंट” की सोच पर कड़ा जवाब दिया है और भारतीय सेना के जवानों का उदाहरण दिया, जो बेहद कठिन परिस्थितियों में सीमा पर तैनात रहते हैं. 

गावस्कर ने इंडिया टुडे से बातचीत में कहा “अगर आप वर्कलोड की बातों में फंसकर पीछे हटेंगे तो आपके सर्वश्रेष्ठ खिलाड़ी कभी मैदान पर नहीं होंगे. आपको खिलाड़ियों को यह स्थिति समझानी होगी कि आप देश के लिए खेल रहे हैं, और जब आप देश के लिए खेलते हैं, तो आपको मांसपेशियों में होने वाले दर्द और थकान को भूलना होगा. यही तो सीमा पर होता है. क्या जवान ठंड या हालात की शिकायत करते हैं? वे देश के लिए अपनी जान देने को तैयार रहते हैं. आपको भी राष्ट्र के लिए अपना सर्वश्रेष्ठ देना होगा.”

ऋषभ पंत ने कर दिखाया

उन्होंने आगे कहा, “छोटे-मोटे दर्द की चिंता मत करो. ऋषभ पंत ने क्या दिखाया? फ्रैक्चर के बावजूद वह बल्लेबाजी करने उतरे. यही जज्बा टीम में दिखना चाहिए. छोटे-मोटे इंजरी से पीछे मत हटो. यह सम्मान है जो 140 करोड़ लोगों में से आपको मिला है कि आप भारत का प्रतिनिधित्व करें. आप बेहद भाग्यशाली हैं, इसे हल्के में मत लो. हमने यही जज्बा सिराज में देखा, वे पांचों टेस्ट मैच खेले, लगातार गेंदबाजी की.”

भारतीय क्रिकेट की डिक्शनरी से हटा दो ये शब्द

गावस्कर ने साफ कहा कि सिराज ने 5 टेस्ट में लगातार लंबे-लंबे स्पेल डालकर ‘वर्कलोड’ की धारणा को तोड़ दिया. कप्तान और देश की उम्मीदों पर खरे उतरते हुए उन्होंने बिना थके गेंदबाजी की और 7-8 ओवर के स्पेल डाले. गावस्कर के मुताबिक, वर्कलोड एक मानसिक सोच है, शारीरिक समस्या नहीं. उन्होंने उम्मीद जताई कि अब भारतीय क्रिकेट में वर्कलोड शब्द को हमेशा के लिए खत्म कर देना चाहिए. गावस्कर ने कहा, ‘मुझे उम्मीद है कि ‘वर्कलोड’ भारतीय क्रिकेट की डिक्शनरी से बाहर होगा. मैं लंबे समय से यह बात कहता आया हूं.’

हालांकि अंत में उन्होंने स्पष्ट किया कि उनका बयान जसप्रीत बुमराह पर नहीं है. बुमराह चोट के कारण बाहर थे, वर्कलोड की वजह से नहीं. इंग्लैंड के खिलाफ 5 टेस्ट की सीरीज में बुमराह केवल 3 मैच खेले. जिन दो मैचों में वे नहीं खेले (दूसरा और पांचवां), भारत ने जीत दर्ज की. भारत और इंग्लैंड के बीच ओवल में खेले गए आखिरी टेस्ट मैच में इंग्लैंड को 374 रन का लक्ष्य मिला था और वे महज छह रन से हार गए. मोहम्मद सिराज ने इस मैच की दूसरी पारी में 5/104 के आंकड़े के साथ शानदार गेंदबाजी की. इंग्लैंड ने आखिरी दिन 339/6 से पारी शुरू की और जीत के लिए सिर्फ 35 रन चाहिए थे, लेकिन सिराज के घातक 25 गेंदों में 3/9 के स्पेल के आगे ढेर हो गए. उन्होंने आखिरी विकेट के रूप में गस एटकिंसन का ऑफ स्टंप उड़ाकर मैच खत्म किया.

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