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भागलपुर वाले सावधान! यहां लोगों को अनोखे तरीके से लूट रहे बदमाश, ऑनलाइन कराते हैं पैसा ट्रांसफर


Bihar News: भागलपुर जिले में बदमाशों ने भोले-भाले लोगों को लूटने का नया तरीका खोज निकाला है. घर से कार आदि वाहन से निकलने वाले को शातिर दुर्घटना का झांसा देकर अपना शिकार बना लेते हैं. ये लुटेरे फोन पे गूगल पे पेटीएम आदि यूपीआइ माध्यम से पैसे ट्रांसफर करा लेते हैं.

अकेले यात्रा करने वाले बनते हैं शिकार

मिली जानकारी के अनसार भागलपुर के शहरी इलाके में लोहिया पुल, पटल बाबू रोड, अलीगंज, सराय चौक, गोलाघाट चौक, कचहरी रोड, मानिक सरकार रोड, खरमनचक रोड, जेल रोड, विक्रमशिला पुल पहुंच पथ-जीरोमाइल रोड के अलावा बाइपास क्षेत्र में ऐसी वारदात को किसी न किसी संभ्रांत व्यक्ति या महिलाओं के साथ अंजाम दिया जा रहा है. बदमाश ऐसे लोगों को शिकार बना रहे हैं, जो अकेले कार लेकर घर से निकल रहे हैं, या फैमिली मेंबर के साथ कार से घर से बाहर जा रहे हैं. पता चला है कि बदमाश बाइक सवार ऐसे कार चालकों की रेकी करते हैं जिनके पास लूट को अंजाम देते वक्त मोल-तोल लायक रुपये रहने की संभावना हो.

एक्सीडेंट का बनाते हैं बहाना

बता दें कि कार चालक से लूट को अंजाम देने वाले बाइक सवार बदमाशों का एक बड़ा गिरोह काम कर रहा है. यह इतने शातिर हैं कि अपने शिकार को रोकने के बाद झटके से जब कार का दरवाजा खोल कार चला रहे व्यक्ति के साथ गाली-गलौज करते हैं. एक्सीडेंट करने की बात कह कर इतनी तेजी से लूट को अंजाम देते कि कार चलाने वाले को संभलने तक का मौका नहीं मिल पाता.

भीड़ भी करती है समर्थन

कार चालक अगर विरोध करता है तो उनसे तेज आवाज में गाली-गलौज कर भीड़ इकट्ठा कर यह बोलने लगते हैं कि देखिये एक तो कार से धक्का मार दी. किसी तरह उनकी जान बची और उनका हाल जानने के बजाय तेजी से कार लेकर भाग रहे थे. ऐसे बोलने पर भीड़ भी उन बदमाशों का समर्थन करने लगती है. इसका परिणाम यह होता है कि कार चला रहे व्यक्ति को न चाहते हुए भी समझौते के रूप में उन्हें हर्जाना-मुआवजा के रूप में रुपये देने पड़ते हैं. पुलिस के आने पर केस, कार जब्त होने, कोर्ट से रिलीज जैसी कवायद से सामना करने के विचार आने मात्र से भयभीत निर्दोष कार चलाने वाले को हर्जाना भरने में ही भलाई समझते हैं.

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प्रोफेसर, इंजीनियर, डॉक्टर, वकील हो चुके शिकार

बता दें कि एक्सीडेंट की बात कह कर अकेले कार चला कर घर से निकलने वालों को लूट और भय दिखाने का शिकार बनाने वाले गिरोह के निशाने पर बीते एक साल में एक दर्जन से अधिक लोग आ चुके हैं. इनमें ज्यादातर प्रोफेसर, इंजीनियर, डाक्टर, वकील और कारोबारी शामिल हैं.

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