स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर इस बार राजधानी दिल्ली में देशभक्ति की धुनें हर कोने में गूंजेंगी. भारतीय सेना, नौसेना, वायुसेना, तटरक्षक बल, केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल (सीएपीएफ), रेलवे सुरक्षा बल (आरपीएफ) और राष्ट्रीय कैडेट कोर (एनसीसी) के बैंड 13 से 15 अगस्त के बीच शाम 5 बजे से दिल्ली के अलग-अलग ऐतिहासिक और सांस्कृतिक स्थानों पर अपनी शानदार प्रस्तुति देंगे. इस आयोजनों का उद्देश्य स्वतंत्रता दिवस की खुशियां लोगों तक सीधे पहुंचाना और देशभक्ति की भावना को पूरे शहर में फैलाना है. यह पहल न केवल दिल्ली बल्कि पूरे देश के 28 राज्यों, 8 केंद्र शासित प्रदेशों और 96 शहरों में आयोजित की जा रही है.
दिल्ली में कहां-कहां होगा आयोजन
इस साल दिल्ली में 12 प्रमुख स्थलों पर बैंड प्रदर्शन होंगे, जहां नागरिक निःशुल्क शामिल हो सकेंगे.
इंडिया गेट — भारतीय सेना बैंड
कनॉट प्लेस — भारतीय नौसेना बैंड
कर्तव्य पथ — भारतीय वायुसेना बैंड
बुद्धा पार्क, नोएडा — भारतीय तटरक्षक बल
कुतुब मीनार — एनसीसी बैंड
विजय चौक — केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) बैंड
पुराना किला — भारत-तिब्बत सीमा पुलिस (आईटीबीपी) बैंड
लाल किला — केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल (सीआईएसएफ) बैंड
आरके पुरम — सशस्त्र सीमा बल (एसएसबी) बैंड
राष्ट्रीय पुलिस स्मारक — सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) बैंड
निजामुद्दीन रेलवे स्टेशन — रेलवे सुरक्षा बल (आरपीएफ) बैंड
नई दिल्ली रेलवे स्टेशन — रेलवे सुरक्षा बल (आरपीएफ) बैंड
सैन्य बैंड की गौरवशाली परंपरा
भारत में सैन्य बैंड का इतिहास औपनिवेशिक काल से जुड़ा है, लेकिन स्वतंत्रता के बाद यह राष्ट्रीय गौरव और एकता का प्रतीक बन चुका है. भारतीय सेना, नौसेना, वायुसेना और तटरक्षक बल के बैंड देश के महत्वपूर्ण सरकारी समारोहों, अंतरराष्ट्रीय कार्यक्रमों और विजय परेड में अपनी प्रस्तुतियों से माहौल को रोमांचित करते रहे हैं. CAPF के बैंड, जैसे CRPF, BSF, CISF और ITBP, अपनी अनूठी शैली के लिए जाने जाते हैं. वहीं RPF रेलवे सुरक्षा के साथ-साथ सांस्कृतिक आयोजनों में भी योगदान देता है और NCC देश के युवाओं में अनुशासन व देशभक्ति की भावना जगाता है.
संगीत के माध्यम से देशभक्ति का संदेश
इन बैंड प्रस्तुतियों में देशभक्ति गीत, मार्शल म्यूज़िक और शास्त्रीय रचनाओं का ऐसा मिश्रण होगा जो हर दर्शक को गर्व और उत्साह से भर देगा. आयोजकों का कहना है कि यह कार्यक्रम स्वतंत्रता सेनानियों के बलिदान को याद करने और भारत की विविध सांस्कृतिक विरासत को सम्मान देने का एक सुंदर अवसर है. इन सभी आयोजनों में प्रवेश निःशुल्क है और दिल्ली के लोग परिवार व दोस्तों के साथ इन प्रस्तुतियों का आनंद ले सकते हैं. शाम 5 बजे से शुरू होने वाले ये प्रदर्शन न केवल सुनने में अद्भुत होंगे, बल्कि देखने में भी बेहद आकर्षक, वर्दीधारी वादकों का अनुशासित प्रदर्शन, तिरंगे के रंग और संगीत का जादू राजधानी को एक उत्सव में बदल देगा.