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संसदीय कार्य मंत्री का आरोप, विपक्ष का मकसद सिर्फ हंगामा करना


Parliament: संसद के मॉनसून सत्र में बिहार में विधानसभा चुनाव से पहले मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण(एसआईआर) को लेकर संसद में विपक्षी दल के सांसद चर्चा की मांग कर रहे हैं. वहीं सरकार की ओर से साफ कहा गया है कि यह मामला अदालत में विचाराधीन है, ऐसे में इस मामले पर चर्चा संभव नहीं है. सरकार ने पूर्व लोकसभा अध्यक्ष बलराम जाखड़ के चुनाव आयोग को लेकर दिए फैसले का भी हवाला दिया.

लेकिन विपक्ष इस मामले पर झुकने को तैयार नहीं दिख रहा है. कुछ दिन पहले कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने मतदाता सूची में गड़बड़ी का आरोप लगाते हुए कहा कि भाजपा को चुनावी फायदा पहुंचाने का काम चुनाव आयोग कर रहा है.

इस आरोप के बाद विपक्षी सांसदों ने संसद से लेकर चुनाव आयोग तक पैदल मार्च का फैसला किया. हालांकि चुनाव आयोग की ओर से राहुल गांधी को वोट चोरी के लगाए गए आरोप पर हलफनामा देने को कहा गया. लेकिन राहुल गांधी इसके लिए तैयार नहीं है. 

संसदीय कार्य बाधित करने की अनुमति नहीं

बुधवार को सदन की कार्यवाही शुरू होते ही दोनों सदनों में विपक्षी सांसदों की ओर से वोट चोरी और एसआईआर पर चर्चा कराने की मांग को लेकर जोरदार हंगामा किया गया. हंगामे के कारण सदन की कार्यवाही को स्थगित करना पड़ा.

विपक्षी सांसदों के हंगामे पर केंद्रीय संसदीय कार्य मंत्री किरेन रिजिजू ने एसआईआर और कथित ‘वोट चोरी’ के मुद्दे को लेकर इंडिया गठबंधन के सांसदों के द्वारा चुनाव आयोग तक निकाले गए मार्च को लेकर कड़ी प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि देश का समय और संसदीय कार्य बाधित करने की अनुमति किसी को नहीं दी जा सकती है. 

परिवार को खुश करने में जुटा विपक्ष

कांग्रेस सांसद राहुल गांधी का नाम लिए बिना केंद्रीय मंत्री ने कहा कि एक व्यक्ति की नासमझी और एक परिवार के कारण देश को नुकसान करने की इजाजत नहीं दे सकते हैं. कांग्रेस और विपक्ष ने झूठे मामले में देश और संसद का बहुत समय बर्बाद किया है और अब देश संसद का समय बर्बाद करने की मंजूरी किसी को नहीं दे सकता है. सरकार महत्वपूर्ण विधेयक पारित करना चाहती है. लोकसभा और राज्यसभा दोनों में महत्वपूर्ण विधेयक पारित किए जायेंगे.

सिर्फ एक आदमी की नासमझी और एक परिवार की वजह से देश इतना नुकसान नहीं झेल सकता है. कई विपक्षी सांसद भी मानते हैं कि वे असहाय हैं और नेता के इशारे पर हंगामा करने को मजबूर हैं. संसद में चुनकर आए प्रतिनिधि जनता की बात रखने के लिए आए हैं, न कि हंगामा कर संसद का समय बर्बाद करने के लिए. 

रिजिजू ने कहा कि चुनाव आयोग विपक्षी दलों को बार-बार अपना पक्ष रखने के लिए आमंत्रित करता रहा है, लेकिन विपक्षी गठबंधन के नेता आयोग की बैठक में शामिल होने से इनकार करते हैं. चुनाव आयोग की ओर से विपक्षी प्रतिनिधिमंडल को आमंत्रित किया गया, लेकिन कांग्रेस अध्यक्ष खरगे का कहना है कि सभी सांसदों को मिलने की अनुमति मिलनी चाहिए. विपक्ष के रवैये से साफ है कि उनका मकसद सिर्फ हंगामा करना है.