Uttarkashi Rescue Operation: उत्तरकाशी में चलाए जा रहे रेस्क्यू ऑपरेशन का वीडियो सामने आया है, उसमें देखा जा सकता है, तेज धारा के बीच जवान रस्सी के सहारे एक छोर से दूसरे छोर पार कर रहे हैं. दरअसल वीडियो में दिख रहे शख्स यूपीसीएल (उत्तराखंड पावर कॉर्पोरेशन लिमिटेड) के कर्मचारी हैं. जो आपदा प्रभावित क्षेत्र में बिजली आपूर्ति बहाल करने के लिए कठिन परिस्थितियों में काम कर रहे हैं. वीडियो इतना डरावना है कि जब आप देखेंगे, तो भय से दिल दहल उठेगा.
उत्तरकाशी में कनेक्टिविटी के तैयार हो रहा बेली पुल
धराली सहित उत्तरकाशी के आपदाग्रस्त क्षेत्रों से संपर्क बहाल करने के लिए गंगोत्री राष्ट्रीय राजमार्ग पर गंगनानी के आगे लिम्चागाड़ के पास बन रहे महत्वपूर्ण बेली पुल का निर्माण कार्य रविवार को पूरा होने की उम्मीद है. उधर, धराली में मलबे के ढेर में लापता लोगों की तलाश के लिए बचाव एवं राहत अभियान युद्धस्तर पर जारी है. बेली पुल एक ऐसा पुल होता है जिसे पहले से तैयार पुर्जों को जोड़कर जल्दी से बनाया जा सकता है.
#WATCH | Uttarkashi, Uttarakhand: UPCL (Uttarakhand Power Corporation Limited) workers work under difficult circumstances to restore power supply in the disaster-affected area.
(Video: State Information Department) pic.twitter.com/lYl9lbOGTt
— ANI (@ANI) August 10, 2025
घोड़े और खच्चरों की मदद से खाद्य-सामग्री पहुंचाई जा रही
अधिकारियों ने बताया कि सोनगाड़, डबरानी, हर्षिल और धराली आदि स्थानों पर अवरुद्ध गंगोत्री राष्ट्रीय राजमार्ग को सुचारू करने का प्रयास युद्धस्तर पर किया जा रहा है. प्रदेश के गृह सचिव शैलेश बगौली ने अधिकारियों को धराली में प्रतिदिन 2000 लीटर डीजल तथा प्रभावित लोगों के लिए रसोई गैस सिलेंडर की आपूर्ति सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं. उन्होंने बताया कि जब तक सड़कों की मरम्मत नहीं हो जाती और उनका संचालन शुरू नहीं होता तब तक प्रभावित लोगों तक खाद्य तथा अन्य जरूरी सामान पहुंचाने के लिए घोड़े और खच्चरों का उपयोग किया जा रहा है.
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सेना के चिनूक हेलीकॉप्टर राहत कार्य में जुटा
मातली हेलीपैड से हेलीकॉप्टर के जरिए बड़ी मात्रा में खाद्य एवं राहत सामग्री हर्षिल हेलीपैड तक भेजी जा रही है और वापसी में आपदा प्रभावित क्षेत्रों के लोगों को मातली लाया जा रहा है. सात अगस्त को बचाव अभियान शुरू होने के बाद से हेलीकॉप्टर 260 से अधिक चक्कर लगा चुके हैं और शनिवार तक 1000 से ज्यादा लोगों को बाहर निकाला जा चुका है. मातली हेलीपैड से आठ हेलीकॉप्टर संचालित किए जा रहे हैं. इसके अलावा, सेना के चिनूक, एमआई-17, एएलएच-1 और चीता हेलीकॉप्टर चिन्यालीसौड़ हवाईपट्टी से बचाव अभियान संचालित कर रहे हैं.
हाईटेक तकनीक से मलबे में लापता लोगों की हो रही तलाश
बाढ़ग्रस्त धराली में मलबे में लापता लोगों की तलाश का काम राज्य आपदा प्रतिवादन बल के खोजी कुत्तों और ‘विक्टिम लोकेटिंग’ व ‘थर्मल इमेजिंग’ कैमरा जैसे अत्याधुनिक उपकरणों की मदद से जारी है. खीर गंगा नदी में पांच अगस्त को अचानक आई बाढ़ और भूस्खलन के कारण धराली में मची तबाही में कई होटल और मकान जमींदोज हो गए थे. जिला प्रशासन ने अब तक चार लोगों की मौत और कई अन्य के लापता होने की पुष्टि की है.
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