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लोकसभा में विपक्ष के नेता वोट चोरी के फर्जी आरोप लगाकर चुनाव आयोग को कर रहे हैं बदनाम


BJP: फर्जी मतदाताओं के जरिए चुनाव परिणाम को प्रभावित करने और चुनाव आयोग की चुप्पी पर लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी के आरोप पर राजनीतिक विवाद पैदा हो गया है. राहुल गांधी के चुनाव में धांधली के आरोप लगाए जाने के बाद चुनाव आयोग की ओर से भी कड़ी प्रतिक्रिया दी गयी. आयोग की ओर से कहा गया कि राहुल गांधी शपथ पत्र देकर आरोपों को साबित करें, अन्यथा देश से माफी मांगे. वहीं भाजपा की ओर से राहुल गांधी पर संवैधानिक संस्था की साख को कम करने के लिए लगातार चुनाव आयोग पर निशाना साधने का आरोप लगाया गया. 

शुक्रवार को केंद्रीय पर्यावरण मंत्री भूपेंद्र यादव ने लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी के वोट चोरी के आरोपों पर सवाल उठाते हुए कहा कि वे संवैधानिक संस्थाओं के खिलाफ गलत भाषा का उपयोग करने और झूठी जानकारी फैलाने की कोशिश कर रहे हैं. आम लोगों में भ्रम फैलाने के लिए विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने झूठ बोलने का काम किया. उन्होंने कहा कि पिछले कई दिनों से राहुल गांधी चुनाव आयोग के खिलाफ एटम बम फोड़ने की बात कह रहे थे.

लेकिन उनके आरोप से ऐसा लगता है कि वे जिस पेड़ पर बैठे हैं, उसी को कुल्हाड़ी से काटने का काम कर रहे हैं. कांग्रेस के युवराज और नेता प्रतिपक्ष की भाषा चुनाव आयोग को लेकर अहंकार से भरी है. 

देश के संवैधानिक संस्थाओं पर लगातार कर रहे हैं हमला

केंद्रीय मंत्री ने कहा कि राजनीतिक लाभ हासिल करने के लिए कांग्रेस पार्टी झूठ पेश कर देश की संवैधानिक संस्थाओं को नीचा दिखाने की लगातार कोशिश कर रही है. लेकिन भारतीय संविधान की मजबूती के कारण देश की जनता को विपक्ष के नेता के झूठे दावों पर भरोसा नहीं है. देश की जनता ऐसे झूठे दावों को बार-बार नकार रही है. सेना के शौर्य पर सवाल उठाने का काम राहुल गांधी ने किया. सुप्रीम कोर्ट में अगर कोई फैसला विपक्ष के खिलाफ आए तो वे उसे भी निशाना बनाने से पीछे नहीं हटते हैं. देश में सेना, चुनाव आयोग, संसद जैसी स्वायत्त संस्था के खिलाफ माहौल बनाकर लोकतंत्र को कमजोर करने की कोशिश में जुटे है.

भूपेंद्र यादव ने कहा कि पहले राहुल गांधी ने कहा था कि महाराष्ट्र में एक करोड़ वोट बढ़ गए. चुनाव आयोग की वेबसाइट पर साफ किया गया कि वर्ष 2024 में महाराष्ट्र विधानसभा में 97141289 वोटर थे और लोकसभा के समय 93061760 वोटर थे. लोकसभा और विधानसभा के बीच 40 लाख वोटर बढ़े, जबकि राहुल गांधी का आंकड़ा समय के साथ कम और अधिक होता रहा है. 

महाराष्ट्र में जहां अधिक वोट पड़े वहां कांग्रेस को जीत मिली. लेकिन विपक्ष के नेता हार को स्वीकार करने की बजाय संवैधानिक संस्थाओं पर सिर्फ आरोप नहीं लगा रहे, बल्कि धमकी देने का भी काम कर रहे हैं.