Becoming the Storm: भारतीय शिक्षा पर जितना खर्च करते हैं, शादियों पर उससे दोगुना खर्च करते हैं और अमेरिकियों की तुलना में कई गुना ज़्यादा खर्च करते हैं. भारतीय विवाह दूसरा सबसे बड़ा उद्योग बन गया है. महिला आंदोलन ऐसे मुद्दे से दूर हो गया है साथ ही देश में महिलाओं से संबंधित मुख्य मुद्दे को काफी पीछे छोड़ दिया गया है. उन्होंने कहा कि महिलाओं के खिलाफ अपराध चिंताजनक हो गए हैं. इसका अंदाजा इससे लगाया जा सकता है कि सभी युद्धों में सैनिकों की तुलना में दहेज हत्याओं के कारण अधिक महिलाओं की मृत्यु हुई है. वरिष्ठ पत्रकार व दक्षिण एशियाई महिला आंदोलन की कार्यकर्ता रही रामी छावडा ने इंडिया इंटरनेशनल सेंटर में अपनी पुस्तक ‘बीकमिंग द स्टॉर्म’ के विमोचन के अवसर पर उपरोक्त बातें कही.
पूर्व केंद्रीय मंत्री व सांसद शशि थरूर, पूर्व विदेश सचिव श्याम शरण और पूर्व राजनयिक वीना सीकरी की मौजूदगी में छाबड़ा ने दुख जताते हुए कहा कि “हम इस तरह के खर्च की अनुमति नहीं दे सकते. बड़े लोगों की भव्य शादी एक महत्वाकांक्षी मामले का प्रतीक है, जो समाज में नीचे तक फैल रहा है, जिसमें निम्न आय वर्ग के लोग भी आर्थिक रूप से ऊंचे लोगों की नकल करने की कोशिश कर रहे हैं. उन्होंने कहा कि शीर्ष पर जो हो रहा है, वह समाज में नीचे तक पहुंच रहा है. इस पर सभी को विचार करने की जरूरत है,
पूर्व राजनयिक सीकरी ने लैंगिक असमानता के मुद्दों से निपटने और महिलाओं के खिलाफ अपराध करने वालों पर ध्यान केंद्रित करने के प्रयासों में पुरुषों को शामिल करने की आवश्यकता पर जोर देते हुए कहा कि “महिलाओं के प्रभावी सशक्तिकरण के लिए पुरुषों को शामिल किया जाना चाहिए. साथ ही महिलाओं के खिलाफ अपराध करने वालों पर ध्यान केंद्रित किया जाना चाहिए और उनकी मानसिक स्थिति को समझने का प्रयास किया जाना चाहिए. वहीं पूर्व केंद्रीय मंत्री व सांसद सांसद शशि थरूर ने कहा कि इंदिरा गांधी का नेहरू द्वारा बुनी गई खादी की साड़ी में विवाह करना अब हमारे लिए आकांक्षापूर्ण मॉडल नहीं रहा. समकालीन समाज आधुनिकता और परंपरा के बीच टकराव से जूझ रहा है.