दवाओं में अश्वगंधा की पत्तियां लेने वाले हो जाएं सावधान, आयुष ने दी इस्तेमाल न करने की सलाह
नई दिल्ली. कोरोना के आने के बाद से आयुर्वेदिक दवाओं के इस्तेमाल को लेकर आयुष मंत्रालय लगातार एडवाइजरी जारी करता रहता है. आयुष की ओर से कई बार गिलोय को लेकर भी परामर्श जारी किया गया है. वहीं अब आयुष मंत्रालय ने एएसयू यानि आयुर्वेद, सिद्ध और यूनानी दवाओं में अश्वगंधा (विथानिया सोम्निफरल) के पत्तों के उपयोग को लेकर सलाह जारी की है. आयुष ने दवाओं में इन पत्तों के इस्तेमाल की एक बार फिर समीक्षा करने का फैसला किया है और इसके लिए एक विशेषज्ञ समूह का गठन किया है.
कोविड को लेकर दी जा रही दवाओं में अश्वगंधा के इस्तेमाल को लेकर इससे पहले मंत्रालय ने एक सलाह जारी की थी. जिसमें उसने एएसयू दवाओं में अश्वगंधा की पत्तियों का इस्तेमाल ना करने का परामर्श दिया था. आयुष मंत्रालय ने अश्वगंधा के पत्तों के उपयोग पर रोक लगाने के मद्देनजर एएसयू ड्रग्स मैन्युफैक्चरिंग एसोसिएशन को 6 अक्टूबर को लिखे पत्र के जरिए एएसयू दवा विनिर्माण उद्योग के भागीदारों से आवेदन हासिल किए थे. साथ ही इन लोगों से तीनों चिकित्सा पद्धतियों की दवाओं में इस्तेमाल किए जा रहे अश्वगंधा को लेकर चिंताएं साझा करने के लिए कहा था.
सभी लोगों से हुई इसी चर्चा के आधार पर मंत्रालय ने अश्वगंधा (विथानिया सोम्निफरल) के पत्तों के उपयोग से बचने के लिए दवा निर्माताओं को जारी की गई सलाह की अब फिर से समीक्षा करने का फैसला किया है. अब विशेषज्ञ समूह वैज्ञानिक साक्ष्य के आधार पर एएसयू उत्पादों में अश्वगंधा के पत्तों/अश्वगंधा के पंचांग के उपयोग पर अपनी रिपोर्ट तैयार करेगा और भारत सरकार को उपयुक्त सिफारिशें भेजेगा. जिसके बाद इसके इस्तेमाल से संबंधित लाभ और हानि को लेकर भी स्पष्ट हुआ जा सकेगा.