अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप अब दवाओं पर भी टैरिफ लगाने जा रहे हैं। पहले उन्होंने दवाओं को टैरिफ से बाहर रखा था, लेकिन अब उन्होंने अपना मूड बदल लिया है। डोनाल्ड ट्रंप ने वॉशिंगटन डीसी में एक कार्यक्रम के दौरान कहा कि अमेरिका अब दवाइयों पर टैरिफ लगाने वाला है। उन्होंने कहा कि हम एक जरूरी कदम उठाने जा रहे हैं। जब हम दवाइयों पर भी टैरिफ लगाएंगे, तो विदेशी कंपनियां अमेरिका में दवा बनाने के लिए वापस लौटेंगी, क्योंकि यूएस सबसे बड़ा मार्केट है।
इन देशों के लिए बुरी खबर
डोनाल्ड ट्रंप ने कहा कि दवाओं पर टैरिफ से फार्मा कंपनियों पर दबाव पड़ेगा, जिससे वे चीन जैसे देशों से अपना कारोबार हटाकर अमेरिका में फैक्ट्रियां लगाएंगी. पिछले सप्ताह टैरिफ की घोषणा के दौरान ट्रंप ने दवाइयों पर छूट दी थी, लेकिन अब उन्होंने दवाइयों को भी टैरिफ के दायरे में लाने का ऐलान किया है। अमेरिका का यह कदम भारतीय फार्मा सेक्टर के लिए बुरी खबर की तरह है। साथ ही चीन और यूरोप को भी इससे बड़ा झटका लग सकता है।
भारत पर कितना असर?
दुनिया में सबसे ज्यादा दवाइयां चीन, भारत और यूरोप में बनती हैं। ऐसे में डोनाल्ड ट्रंप के नए टैरिफ से तीनों को बड़ा नुकसान उठाना पड़ेगा। भारत की बात करें, जेनेरिक फार्मा उद्योग पर सबसे ज्यादा असर पड़ सकता है। भारत अमेरिका को 47% जेनेरिक मेडिसिन की सप्लाई करता है और यह अमेरिका के हेल्थकेयर सिस्टम का एक महत्वपूर्ण पार्टनर है। भारत की जेनेरिक दवाएं सस्ती हैं, इस वजह से अमेरिका में इसकी अच्छी डिमांड रहती है। लेकिन टैरिफ बढ़ने से दवाएं भी महंगी हो सकती हैं, जिनसे इसकी यूएस मार्केट पर पकड़ ढीली पड़ सकती है।
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Apr 09, 2025 08:26
Edited By
Neeraj