Bihar News: बिहार के ड्राइवर और यात्रियों के लिए राहत भरी खबर है. राज्य सरकार ने शहरों के भीतर जाम की समस्या को कम करने और लोगों को लंबी यात्रा के लिए शहरों में घुसने की जरूरत न पड़े, इस उद्देश्य से राज्यभर में बाइपास बनाने का बड़ा अभियान शुरू किया है. पहले चरण में 120 बाइपास की पहचान की गई और अब पथ निर्माण विभाग ने नौ और शहरों में बाइपास बनाने का निर्णय लिया है. ये बाइपास नेशनल हाईवे से जुड़े होंगे और निर्माण कार्य अपने अंतिम चरण में है.
सुपौल से औरंगाबाद तक: बाइपास की नई लकीर
इस योजना के तहत सुपौल, पिपरा और त्रिवेणीगंज में एनएच 327 ई पर बाइपास बनेंगे. सिंहेश्वर में एनएच 106 पर, अरवल में एनएच 98 पर, और दाउदनगर और औरंगाबाद में भी एनएच 98 के मार्ग पर बाइपास का निर्माण होगा. एनएच 120 में डुमरांव और दावथ बाइपास तैयार किए जाएंगे. इन बाइपास के बनने के बाद लोग अब बिना शहरों में घुसे ही अपनी यात्रा पूरी कर सकेंगे.
राज्य में पहले से 14 बाइपास बनकर तैयार हैं और गाड़ियों का संचालन शुरू हो चुका है. इनमें छपरा (एनएच 19), सीवान और गोपालगंज (एनएच 85), कटिहार (एनएच 131 ए), गयाजी, जहानाबाद और मसौढ़ी (एनएच 83) शामिल हैं. इसके अलावा अस्थावां और बरबीघा (एनएच 82), सीतामढ़ी और जयनगर (एनएच 104), दनियावां और बाढ़ (एनएच 30 ए) और भागलपुर (एनएच 80) में भी बाइपास चालू हैं. ये बाइपास यातायात को तेज और सुगम बनाने में मदद कर रहे हैं.
निर्माणाधीन 17 बाइपास: जल्द पूरा होने वाले हैं काम
वर्तमान में विभिन्न नेशनल हाईवे से जुड़े 17 बाइपास का निर्माण चल रहा है. इनमें रिविलगंज और छपरा (एनएच 19), रानीगंज (एनएच 327 ई), शेखपुरा, खैरा, जमुई, कटोरिया, बांका, पंजवारा, लखपुरा, मानगोबंदर, तोलोसोनो, केंदुआ, झाझा और नरगंजो (एनएच 333 ए), आरा (एनएच 319), बक्सर-चौसा (एनएच 319 ए) शामिल हैं. इनमें कई बाइपास अपने अंतिम निर्माण चरण में हैं और इसी साल गाड़ियों के लिए खोल दिए जाएंगे.
इन बाइपास के निर्माण का मकसद केवल लंबी दूरी की यात्रा को आसान बनाना ही नहीं है, बल्कि शहरों के भीतर लगने वाले जाम से भी मुक्ति दिलाना है. जब लोग शहरों में घुसने की बजाय सीधे बाइपास से गुजरेंगे, तो शहरों के मुख्य मार्गों पर ट्रैफिक कम होगा. इसका सीधा लाभ शहरवासियों को मिलेगा, जो अब जाम में फंसे बिना अपने काम पर आसानी से जा सकेंगे.
यात्रियों और व्यापारियों दोनों के लिए लाभकारी
बाइपास से न केवल यात्रियों का समय बचेगा, बल्कि व्यापारियों के लिए भी बड़ा फायदा होगा. मालवाहन और परिवहन वाहनों को अब शहरों में प्रवेश किए बिना अपने गंतव्य तक पहुंचने का मार्ग मिलेगा. इससे वितरण समय कम होगा और परिवहन लागत भी घटेगी. यह योजना राज्य की आर्थिक गति और लॉजिस्टिक्स को तेज करने में भी मददगार साबित होगी.
राज्य सरकार की इस योजना से बिहार में यातायात व्यवस्था में सुधार और सड़क सुरक्षा पर ध्यान देने का प्रयास स्पष्ट है. बाइपास के निर्माण से लंबी दूरी की यात्रा आसान, तेज और सुरक्षित होगी. इसके साथ ही शहरों के भीतर का ट्रैफिक दबाव कम होगा, जिससे प्रदूषण और वाहन दुर्घटनाओं में भी कमी आएगी.
यह पहल राज्य के लोगों के जीवन को आसान बनाने और आधुनिक सड़क नेटवर्क की दिशा में एक मजबूत संकेत है.
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